This blog is to showcase some news posts dedicated towards Dr. Satya Pandey. Dr. Satya Pandey is a charismatic politician and social worker. She is Mayor of Gorakhpur
Thursday, June 7, 2012
Wednesday, June 6, 2012
सत्या, सुरहिता, वंदना समेत 5 का नामांकन
गोरखपुर (एसएनबी)। नगर निगम में महापौर पद के लिए मंगलवार को पांच लोगों ने नामांकन
किये। इसमें कांग्रेस से डा. सुरहिता करीम, भाजपा से डा. सत्या पाण्डेय तथा निर्दल
के रूप में वंदना शर्मा, संगीता चौधरी और श्रीमती जगदम्बा हैं। इस तरह मेयर पद के
लिए अभी तक कुल छह लोग नामांकन कर चुके हैं। मंगलवार को कांग्रेस प्रत्याशी के तौर
पर डा. सुरहिता करीम पत्नी डा. विजाहत करीम ने नामाकंन किया है। 53 वर्षीया डा.
सुरहिता एमबीबीएस एमएस हैं। यह वार्ड संख्या 23 की निवासी हैं। वहीं भाजपा
प्रत्याशी के तौर पर डा. सत्या पाण्डेय पत्नी विनोद ने नामांकन किया है।
Saturday, June 2, 2012
आज जारी होगी पार्षदों की सूची !
गोरखपुर (एसएनबी)। नगर निगम चुनाव के लिए पार्षद पदों के लिए भाजपा प्रत्याशियों की सूची शनिवार को जारी होने की संभावना है। शनिवार को प्रत्याशियों की सूची को अंतिम रूप देने के लिए लखनऊ में प्रदेश स्तरीय नेताओं एवं क्षेत्रीय समिति की बैठक होने जा रही है। उधर, आधा दर्जन मौजूदा पार्षदों का टिकट कटना तय माना जा रहा है। इनमें से कुछ निवर्तमान मेयर अंजू चौधरी के समर्थक पार्षद भी शामिल हैं। भाजपा ने गुरूवार को मेयर पद के लिए मौजूदा मेयर अंजू चौधरी की प्रत्याशियता को दरकिनार करते हुए डा. सत्या पांडेय को प्रत्याशी घोषित किया। पार्टी प्रत्याशी घोषित होने के बाद डा. पांडेय के आवास पर आज कार्यकर्ताओं का जमावड़ा रहा। डा. पांडेय ने गोरखनाथ मंदिर पहुंचकर पूजा-अर्चना करने के बाद गोरक्षपीठाधीश्वर महन्त अवेद्यनाथ एवं सांसद योगी आदित्यनाथ का आशीर्वाद लिया। डा. पांडेय पांच जून को अपना नामांकन दाखिल करेंगी। नामांकन जुलूस पूर्वाह्न दस बजे से महाराणा प्रताप इंटर कालेज परिसर से कलेक्ट्रेट परिसर के लिए रवाना होगा। उधर, पार्षदी के लिए पार्टी टिकट सुनिश्चित कराने के लिए दावेदार अपने तई जुगाड़ में जुटे हुए हैं। सूत्रों के मुताबिक स्थानीय स्तर पर जो संभावित सूची तैयार की गई है उसमें आधा दर्जन पार्टी पार्षदों का पत्ता साफ होने की बात कही जा रही है। जिन पार्षदों के अपने टिकट को लेकर खतरा मंडराने का अंदेशा है वे भी इसे बचाने के लिए जुगत में दिन-रात एक किये हुए हैं। हियुवा के खाते में बीस सीटों के जाने की संभावना भी जतायी जा रही है।
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